भारत के एविएशन सुरक्षा प्रमुख ने हाल ही में देश की विमानन सुरक्षा को लेकर चिंता व्यक्त किए जाने के बीच स्पष्ट किया है कि भारतीय हवाई क्षेत्र पूरी तरह सुरक्षित है। यह बयान देशभर में कई एयरलाइंस और हवाईअड्डों को मिले बम धमकी संदेशों के मद्देनजर आया है, जिसने यात्रियों और अधिकारियों के बीच आशंका पैदा की थी।

सिविल एविएशन सिक्योरिटी ब्यूरो (BCAS) के निदेशक, श्री राकेश सिंह ने कहा, “हमारे पास देश की एविएशन सुरक्षा व्यवस्था में कोई कमी नहीं है। हमने उच्चतम स्तर की सुरक्षा सुनिश्चित की है, और यात्रियों को घबराने की कोई आवश्यकता नहीं है।” यह बयान तब आया जब देश के प्रमुख हवाईअड्डों को हाल ही में कुछ भ्रामक संदेशों के कारण सुरक्षा कड़ी करनी पड़ी थी।

बम धमकी के मामले में बढ़ी सतर्कता

पिछले कुछ हफ्तों में, दिल्ली, मुंबई, और बेंगलुरु सहित कई प्रमुख हवाईअड्डों पर एयरलाइंस को बम धमकियों की खबरें मिलीं। इन घटनाओं के बाद कई विमानों की इमरजेंसी लैंडिंग कराई गई और हवाई अड्डों पर सुरक्षा प्रोटोकॉल लागू किए गए। कुछ उड़ानों में यात्रियों को देरी का सामना करना पड़ा, जिससे असुविधा हुई।

सुरक्षा एजेंसियों ने तुरंत कार्रवाई करते हुए इन धमकियों को गंभीरता से लिया और हवाई अड्डों पर सुरक्षा व्यवस्था को और सख्त कर दिया। नेशनल सिक्योरिटी गार्ड्स (NSG) और सेंट्रल इंडस्ट्रियल सिक्योरिटी फोर्स (CISF) को तैनात कर सुरक्षा जांच को और भी मजबूती से लागू किया गया। हवाई अड्डों पर हर यात्री और सामान की गहन जांच की जा रही है ताकि कोई भी अप्रिय घटना न घट सके।

संदिग्ध संदेशों की जांच

सुरक्षा अधिकारियों ने बताया कि इन धमकी भरे संदेशों की जांच की जा रही है और कई संदिग्ध व्यक्तियों से पूछताछ की जा रही है। प्रारंभिक जांच के अनुसार, यह धमकियां साइबर माध्यम से की गई हैं, जिससे सुरक्षा एजेंसियों को यह आशंका है कि यह कोई शरारती तत्व हो सकते हैं जो लोगों में भय पैदा करने का प्रयास कर रहे हैं।

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने भी इन घटनाओं पर संज्ञान लेते हुए तुरंत कार्रवाई करने का निर्देश दिया है। मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, “हमारी सुरक्षा एजेंसियां पूरी तरह मुस्तैद हैं, और हम सभी संभावित खतरों पर कड़ी नजर रख रहे हैं। साइबर सुरक्षा विशेषज्ञ भी इन धमकियों की जांच में जुटे हुए हैं, ताकि जल्द से जल्द असली दोषियों का पता लगाया जा सके।”

नागरिक उड्डयन मंत्रालय का बयान

नागरिक उड्डयन मंत्री श्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भी इस संबंध में बयान जारी करते हुए कहा, “सरकार देश के हवाई अड्डों और हवाई जहाजों की सुरक्षा को लेकर कोई समझौता नहीं करेगी। हमारी प्राथमिकता हमेशा यात्रियों की सुरक्षा रही है, और सभी हवाई अड्डों को हाई अलर्ट पर रखा गया है। हमने सुरक्षा के सभी मानकों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित किया है।”

मंत्री ने यह भी बताया कि धमकियों से निपटने के लिए संबंधित सुरक्षा एजेंसियों और एयरलाइंस के बीच समन्वय बढ़ाया गया है, ताकि किसी भी आपात स्थिति से निपटा जा सके।

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एयरलाइंस का रुख

वहीं, बम धमकियों की खबरों के बीच प्रमुख भारतीय एयरलाइंस कंपनियों ने भी अपने यात्रियों को आश्वासन दिया है कि सुरक्षा के सभी उपाय पूरी तरह से लागू किए जा रहे हैं। एयर इंडिया, इंडिगो, और स्पाइसजेट सहित कई एयरलाइंस ने सुरक्षा मानकों को और कड़ा कर दिया है। कंपनियों ने अपने क्रू और कर्मचारियों को भी सतर्क रहने के निर्देश दिए हैं और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की तुरंत रिपोर्ट करने को कहा है।

इंडिगो के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, “हमारे सुरक्षा प्रोटोकॉल को नियमित रूप से अपग्रेड किया जाता है और हमने हवाई अड्डों पर अतिरिक्त सुरक्षा जांच की व्यवस्था की है। हम अपने यात्रियों से अनुरोध करते हैं कि वे हमारी सुरक्षा प्रक्रियाओं में सहयोग करें, जिससे सभी की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।”

यात्रियों की प्रतिक्रिया

धमकियों के बाद यात्रियों के बीच भी चिंता की स्थिति देखी जा रही है। कई यात्रियों ने बम धमकियों के बाद अपनी यात्रा योजनाओं में बदलाव किया है। हालाँकि, सुरक्षा एजेंसियों के त्वरित एक्शन और हवाई अड्डों पर कड़ी निगरानी के बाद, यात्रियों की चिंताएँ कुछ हद तक कम हुई हैं।

दिल्ली एयरपोर्ट पर यात्रा कर रहे एक यात्री ने कहा, “हम थोड़े घबराए हुए थे, लेकिन हवाई अड्डे पर इतनी सख्त सुरक्षा व्यवस्था देखकर अब हम सुरक्षित महसूस कर रहे हैं। हमें पूरा भरोसा है कि सुरक्षा एजेंसियां किसी भी चुनौती से निपटने में सक्षम हैं।”

एविएशन सेक्टर की चुनौतियाँ

हालांकि भारतीय एविएशन सेक्टर तेज़ी से विकसित हो रहा है, लेकिन सुरक्षा से जुड़ी चुनौतियाँ भी बढ़ती जा रही हैं। बढ़ते हवाई यातायात, नए हवाई अड्डों की स्थापना और अंतरराष्ट्रीय उड़ानों की संख्या में वृद्धि के साथ, एविएशन सुरक्षा को बनाए रखना एक बड़ा दायित्व है।

सुरक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि भारतीय एविएशन इंडस्ट्री को साइबर सुरक्षा और आधुनिक तकनीकी उपायों को और मजबूत करने की आवश्यकता है, ताकि इस तरह की धमकियों का तुरंत पता लगाया जा सके और उन्हें विफल किया जा सके।

क्या कहते हैं सुरक्षा विशेषज्ञ?

एविएशन सुरक्षा विशेषज्ञ, कर्नल (सेवानिवृत्त) संजय शर्मा ने कहा, “भारतीय हवाई अड्डों और एयरलाइंस की सुरक्षा व्यवस्था अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप है। हालांकि, ऐसी घटनाएँ हमें यह याद दिलाती हैं कि सुरक्षा हमेशा एक सतत प्रक्रिया है और इसमें किसी भी प्रकार की ढिलाई की गुंजाइश नहीं है।”

उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि साइबर धमकियों के बढ़ते मामलों को देखते हुए सुरक्षा एजेंसियों को नवीनतम तकनीकी साधनों का उपयोग करना चाहिए और नियमित रूप से अपने सुरक्षा प्रोटोकॉल को अद्यतन करना चाहिए।

भारतीय एविएशन की मजबूत सुरक्षा ढांचा

सिविल एविएशन सिक्योरिटी ब्यूरो और अन्य सुरक्षा एजेंसियों की कड़ी मेहनत से भारतीय एविएशन सेक्टर में अब तक कोई बड़ी सुरक्षा चूक नहीं हुई है। भारत के प्रमुख हवाई अड्डों पर अत्याधुनिक सुरक्षा उपकरण, जैसे बॉडी स्कैनर्स, बम डिटेक्शन सिस्टम और हवाई अड्डों पर तैनात अत्यधिक प्रशिक्षित सुरक्षा बल मौजूद हैं।

यात्रियों और एयरलाइंस के अधिकारियों के लिए यह आश्वासन महत्वपूर्ण है कि भारतीय आसमान पूरी तरह सुरक्षित है और सुरक्षा एजेंसियों की सख्ती से यात्राओं को सुरक्षित रखा जा रहा है। बम धमकियों के बावजूद, हवाई अड्डों और उड़ानों की सुरक्षा को लेकर अधिकारियों की गंभीरता ने यात्रियों के मन में विश्वास बनाए रखा है।

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